श्री रमेश शर्मा

futuredहमारे नायक

स्वाधीनता संग्राम से सामाजिक जागरण तक का सफर

काका कालेलकर राष्ट्रीय मराठी डेली के संपादकीय विभाग से जुड़े और यहाँ से उनका पत्रकारीय जीवन आरंभ हुआ । इसके बाद 1910 में वे गंगानाथ विद्यालय में शिक्षक बने । लेकिन 1912 में अंग्रेज सरकार ने स्कूल को बंद करवा दिया । गुजरात से महाराष्ट्र तक की अपनी जीवन यात्रा में उन्होंने भारतीय जनों की दुर्दशा देखी । उन्हें अंग्रेजों पर गुस्सा बहुत आता था ।

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futuredविश्व वार्ता

बंगलादेश में सत्ता परिवर्तन और हिन्दुओं पर हमलों का नया दौर

बंगलादेश के 29 जिलों में हिन्दुओं को चुन चुनकर मारा गया। उनके घरों को लूटा गया, आग लगाई गई, मंदिरों पर हमले हुये और मूर्तियाँ तोड़ीं गईं। हिन्दुओं पर ये हमले सत्ता परिवर्तन के बाद भी नहीं रुके। अंतरिम सरकार के उभर आने के बाद भी बंगलादेश के गाँवों में हिन्दुओं पर हमले नहीं रुके।

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स्वाधीनता के सूर्योदय के लिये निर्णायक आँदोलन का उद्घोष

स्वाधिनता आँदोलन के इतिहास में यह नौ अगस्त की तिथि दो महत्वपूर्ण स्मृतियों से जुड़ी है। पहली तिथि 9 अगस्त 1925 है इसदिन क्राँतिकारी आँदोलन को गति देने केलिये काकोरी रेल्वे स्टेशन पर सरकारी खजाना लूटा गया था।
दूसरी तिथि 9 अगस्त 1942 है जब अहिसंक आँदोलन को निर्णायक स्वरूप देने के लिये अंग्रेजो भारत छोड़ो आँदोलन आरंभ हुआ था।

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राष्ट्रमित्र और राष्ट्रशत्रु की पहचान भी आवश्यक

भारतीय राष्ट्रतत्व में सत्य  अहिंसा, शांति, सद्भाव, समन्वय, समरसता और सामूहिकता को प्रधानता है। इसके अनुरूप आचरण करने वाले नागरिकों राष्ट्रमित्र कहा जाता है। इसके विपरीत अशांति, असत्य, हिंसा क्रूरता, वैमस्यता, विखराव और प्रगति में अवरोध उत्पन्न करने वाली मानसिकता के नागरिकों को राष्ट्रशत्रु की पंक्ति में माना जा सकता है।

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पुरुषोत्तम दास टंडन का भारत विभाजन का विरोध और राजभाषा हिन्दी के लिए संघर्ष

सुप्रसिद्ध स्वतंत्रता संग्राम सेनानी राजर्षि पुरुषोत्तम दास टंडन एक ऐसे राजनेता थे जिन्होंने राजनैतिक सक्रियता के साथ भारत राष्ट्र के

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वैदिक साहित्य के पुर्नप्रवर्तक श्रीपाद दामोदर सातवलेकर

हीं उनका संपर्क वे आर्य समाज से हुआ।वे आर्य समाज की वेदांत गोष्ठियों में भाग लेने लगे। उनकी व्याख्या और तर्क से समूचा वैदिक विद्वान समाज प्रभावित हुआ।उन्होंने आर्य समाज केलिये “सत्यार्थ प्रकाश”, “ऋग्वेदादि भाष्य भूमिका” व “योग तत्वादर्श” का मराठी में अनुवाद भी किया।

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